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नरसिंहपुर - जिम्मेदार मौन, आखिर देखेगा कौन, सांची पार्लरों पर दुग्ध उत्पादों के नाम पर तम्बाकू उत्पादों का गड़बड़झाला

नरसिहपुर - ( आशीष दुबे )- यूं तो सरकार तंबाकू उत्पोदों को लेकर काफी सजगता दिखाती है और करोड़ों रुपये नशा मुक्ति पर खर्च करती है।
शासन द्वारा तंबाकू उत्पादों की बिक्री के लिए कई नियम बना रखे है, लेकिन शहर में चारों और फैले सांची दुग्ध पार्लरों पर खुलेआम मादक पदार्थों की बिक्री कर शासन की आंखों में धूल झोंकी जा रही है।
आखिर क्या कारण है कि जिम्मेदार इन पर कार्रवाही करने से कतराते है?
क्या इन्हें खुलेआम धीमा जहर बेचने की इजाजत दी गई है?
कई सवाल है जो आमजन के लिए अलसुलझी गुत्थी बनी हुई है, देखना यह है कि प्रसाशन को जानकारी मिलने के बाद कोई कार्यवाही होती है, या फिर आमजन की जान से खिलवाड़ का खेल बदस्तूर जारी रहेगा।
वैसे तो सांची कंपनी के (दुकान /पार्लर ) के नाम पर "सांची दुग्ध पार्लर " ऐसा लिखा होता है, जहा कंपनी के द्वारा प्रदाय किए जाने बाले प्रोडक्ट ही विक्रय किए जाने चाहिये। लेकिन सूत्र बताते है इन सांची दुग्ध विक्रय केंद्रों पर जहरीले खाद्द पदार्थों की खुलेआम ब्रिक्री की जा रही है।
      देखा जाए तो दूध की दुकान पर जहां सेहत बनाने की साम्रगी का बिक्रय किया जाना चाहिए, लेकिन सांची पार्लरों पर नशीले पदार्थों की बिक्री खुलेआम होती है, ऐसा नही है कि जिम्मेदार अधिकारियों की नजर इन सांची पार्लरों पर नही पड़ती लेकिन लगता है अधिकारी भी आंखों पर अंधत्व का चश्मा लगाए बैठे है।
     इन दुकानों को केबल दूध या दूग्ध से बने उत्पादों के बिक्रय के रूप में ही प्रयोग में लाया जाना चाहिए, अन्य कोई ओर करोबार इन पार्लर संस्थानों व दुकानों से प्रतिबंधित किया जाना चाहिए, यदि कोई ऐसा करता पाया जाता है तो उसके विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जानी चाहिए।
दुग्ध उत्पादों के नाम पर चल रहा है गड़बड़झाला:
सूत्र बता रहे है कि एक और जहां सांची दूध पार्लर के लिए दुग्ध विक्रय की अनुमति प्रदान है तो वही दूसरी ओर इस दुग्ध की दुकान कहे या स्टॉल यहां आए दिन दुग्ध उत्पादों  के नाम पर शहर में नशे का कारोबार भी संचलित किया जाने लगा है, सूत्र अनुसार वहां केवल दूध ही नही बल्कि गुटखा,पाउच, तंबाकू और सिगरेट जैसे नशीले पदार्थों की बिक्री भी की जाने लगी है। यदि धरातल पर देखे तो अधिकतर सांची दूध स्टाल अव अबैध रूप से काले धंधों की दुकानों के रूप में पहचानी जाने लगी है। सूत्र बताते है की जांच पड़ताल की जाए तो काफी मात्रा में नशे का कारोबार इन दुग्ध पार्लरों के यहां होते हुए मिल जायेगा। अव देखना होगा कि दुग्ध पार्लर पर कब जिला प्रसाशन उचित कार्यवाही का कदम उठाएगा ताकि यहां की असलियत उजागर हो सके ।

जिम्मेदारों का क्या कहना

मनीष जैन, खाद्म अधिकारी

हमारे विभाग  से खाद्म पदार्थ बेचने की अनुमति होती है यह सांची की गाइड लाइन पर निर्भय करता है, उनको पान मसाला बेचना चाहिये या नही।

महेश कुमार बमनहा, एसडीएम नरसिहपुर

कार्यवाही अवश्य की जाएगी कार्य से फुर्सत न मिलने के कारण कार्यवाही नही की गई, कल ही फूड सेफ्टी टीम को भेजकर जांच करवाते है।

2 टिप्‍पणियां:

  1. हैलो NewsExpress18,

    आपके पोस्ट एकदम बेहतरीन विषय और संदर्भ स्वागतयोग्य है। साथ ही रांची : नरसिंहपुर - जिम्मेदार मौन, आखिर देखेगा कौन, सांची पार्लरों पर दुग्ध उत्पादों के नाम पर तम्बाकू उत्पादों की अवैध बिक्री" बेहतर वाक्य है।

    सर, भगवान शिव महायोगी स्वरूप में" गुरू गोरखनाथ" होते हैं। भगवान गुरू" गोरख "जैसे पवित्र कल्याणकारी नाम को किसी घटिया धंधे से ना जोडे धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचती है और शिव तो सदैव कल्याण ही करते हैं कोई धंधा नही इसमें कोई संदेह नहीं। "गोरख-धंधा" शब्द अनुचित है।

    अगर आप इस अवांछित शब्द के स्थान पर किसी बेहतर संज्ञा जैसे जालसाजी /काला धंधा /अवैध धंधा/ अनैतिक धंधा / घिनौना कारोबार /घटिया कारोबार /भ्रष्टाचार /भंवरजाल /मकड़जाल /घपला / गोलमाल / घोटाला / तिलिस्मी जाल/गडबडझाला /गडबडघोटाला /धांधली इत्यादि जैसे शब्दों का प्रयोग कर लें और रिपोर्टिंग टीम को भी इस पहलू की ओर भविष्य में भी सचेत करें तो आपकी ज्वलंत पत्रकारिता उम्दा ही प्रतीत होगी।

    !!अलख निरंजन!!

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  2. विष्णु जी आपके सुझाव को प्राथमिकता से लेते हुए तत्काल जो आप सुधार चाहते थे सुधार कर दिया गया था,
    आपका इसी तरह सहयोग मिलता रहेगा ऐसी आशा करते है,
    सुझाव के लिए धन्यवाद

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